देहरादून: रायपुर ब्लॉक के मालदेवता गांव की रेखा चौहान आज महिलाओं के लिए एक नई मिसाल बन चुकी हैं। कभी सीमित संसाधनों और सामाजिक चुनौतियों से घिरी रहने वाली रेखा आज अपने ब्यूटी पार्लर और कॉस्मेटिक शॉप के जरिए न केवल आत्मनिर्भर बनी हैं, बल्कि दूसरों के लिए प्रेरणा स्रोत भी बन गई हैं। उनकी मासिक आय अब 20 हजार रुपये से भी अधिक है।
सपनों को हकीकत में बदला
ग्रामीण परिवेश में पली-बढ़ी रेखा की शुरुआत आसान नहीं थी। न संसाधन थे, न अनुभव और न ही कोई मार्गदर्शन। लेकिन 2021 में जब जिला प्रशासन द्वारा गांव में कम्युनिटी रिसोर्स पर्सन (CRP) अभियान शुरू किया गया, तो यह उनके जीवन में एक नया मोड़ लेकर आया।
रेखा ने गांव की सात अन्य महिलाओं के साथ मिलकर प्रगति स्वयं सहायता समूह बनाया। समूह से जुड़ने के बाद उन्हें स्वरोजगार से संबंधित प्रशिक्षण और वित्तीय सहायता की जानकारी मिली। आरसेटी (RSETI) के माध्यम से रेखा ने ब्यूटी पार्लर संचालन का प्रशिक्षण लिया और अन्य महिलाओं को भी प्रशिक्षित किया।
गांव में पहली कॉस्मेटिक और ब्यूटी सर्विस
मालदेवता गांव में ब्यूटी पार्लर और कॉस्मेटिक शॉप की कोई सुविधा नहीं थी। ऐसे में रेखा और उनके समूह की सेवाएं ग्रामीणों के बीच लोकप्रिय हो गईं। शादी-ब्याह के मौसम में उनकी आमदनी 20 हजार रुपये से भी ऊपर पहुंच जाती है। बाकी महीनों में भी किराया-भाड़ा चुकाने के बाद रेखा 10 हजार रुपये की शुद्ध आय अर्जित कर रही हैं।
सरकारी योजनाओं से मिली ताकत
मुख्य विकास अधिकारी अभिनव शाह ने बताया कि ग्राम पंचायत मालदेवता में राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत प्रगति स्वयं सहायता समूह को सीसीएल (50,000 रुपये) और सीआईएफ (30,000 रुपये) की राशि प्रदान की गई। इस आर्थिक सहयोग और प्रशिक्षण के माध्यम से समूह की महिलाएं अब सशक्त और आर्थिक रूप से सक्षम बन रही हैं।
रेखा चौहान के इस सफर से साफ है कि अगर इच्छाशक्ति हो और सही मार्गदर्शन मिले, तो गांव की महिलाएं भी आत्मनिर्भरता की मिसाल बन सकती हैं।