दिल्ली : बृहस्पतिवार देर रात 2:30 बजे के बाद राज्यसभा ने वक्फ संशोधन विधेयक- “यूनिफाइड वक्फ मैनेजमेंट एम्पावरमेंट एफिशिएंसी एंड डवलपमेंट” (उम्मीद) पर 13 घंटे की लंबी चर्चा के बाद अपनी मुहर लगा दी। विधेयक के पक्ष में उच्च सदन ने ध्वनिमत से मतदान किया और विपक्ष के सभी संशोधन प्रस्ताव खारिज कर दिए।
हालांकि, द्रमुक के तिरुचि शिवा का संशोधन कुछ देर बाद खारिज हुआ, जिसमें 92 के मुकाबले 125 मतों से इसका विरोध किया गया। यह विधेयक पहले लोकसभा में भी बहुमत से पारित हो चुका था। लोकसभा ने इस पर बुधवार रात करीब 1:56 बजे मतदान किया था, जिसमें विधेयक के पक्ष में 288 और विरोध में 232 मत पड़े थे।
लोकसभा में इस विधेयक पर 12 घंटे से अधिक समय तक चर्चा हुई थी, जिसमें सत्ता पक्ष और विपक्ष के सदस्य विधेयक के विभिन्न पहलुओं पर एक-दूसरे से भिड़े। विपक्ष की ओर से मल्लिकार्जुन खरगे, रामगोपाल यादव, कपिल सिब्बल जैसे दिग्गज नेताओं ने विधेयक का विरोध किया, जबकि सत्ता पक्ष से किरेन रिजिजू, जेपी नड्डा, राधामोहन अग्रवाल और उपेंद्र कुशवाहा ने विधेयक का समर्थन किया।
अब यह विधेयक राष्ट्रपति के पास हस्ताक्षर के लिए भेजा जाएगा, और सरकार द्वारा अधिसूचित होते ही यह कानून का रूप ले लेगा। इस विधेयक के पास होने के बाद वक्फ बोर्ड्स की कार्यप्रणाली में सुधार और पारदर्शिता लाने की उम्मीद जताई जा रही है।