देहरादून : अप्रैल महीने से शुरू होने वाली चारधाम यात्रा के लिए तैयारियां अंतिम चरण में हैं। इस बार यात्रा को अधिक व्यवस्थित और सरल बनाने के लिए परिवहन विभाग ने कुछ महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। यात्रा पर जाने के लिए अब ग्रीन कार्ड और ट्रिप कार्ड बनवाना अनिवार्य होगा। इन दोनों कार्ड्स के बिना कोई भी वाहन यात्रा पर नहीं जा सकेगा।
दूसरे राज्यों से आने वाले वाहनों के लिए ट्रिप कार्ड 10 दिन के लिए वैध होगा। इस दौरान, एक वाहन को किसी भी धाम का दूसरा फेरा लगाने की अनुमति नहीं होगी। चारधाम यात्रा के नोडल अधिकारी सुनील शर्मा ने बताया कि ग्रीन कार्ड को प्रदेश के किसी भी एआरटीओ कार्यालय से बनवाया जा सकता है। ग्रीन कार्ड बनाने के लिए greencard.uk.gov.in पर लॉगइन करके गाड़ी और चेसिस नंबर डालने पर सभी दस्तावेज़ स्वत: अपलोड हो जाएंगे। इसके बाद, ऑनलाइन फीस का भुगतान करना होगा। छोटे वाहनों के लिए 400 रुपये और बड़े वाहनों के लिए 600 रुपये का भुगतान करना होगा।
आवेदन पूरा होने के बाद ग्रीन कार्ड की पर्ची प्राप्त होगी, जिसे परिवहन कार्यालय में दिखाने पर वहां बैठे कर्मचारी वाहन की तकनीकी जांच करेंगे। सुनील शर्मा ने यह भी बताया कि अप्रैल के पहले सप्ताह से ग्रीन कार्ड बनाने की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी, जिसमें सबसे पहले उत्तराखंड के वाहन मालिकों को मौका मिलेगा। इसके बाद दूसरे राज्यों के वाहन मालिक आवेदन कर सकेंगे। पिछले साल करीब 32 हजार वाहनों ने ग्रीन कार्ड बनवाए थे, जबकि इस बार यह संख्या 36 से 40 हजार के बीच रहने की उम्मीद है।
यात्रा के दौरान यह सुनिश्चित किया जाएगा कि वाहनों के टायर का आकार 173 इंच से अधिक न हो और वाहन की चौड़ाई 2.6 मीटर से ज्यादा न हो, अन्यथा उन्हें यात्रा की अनुमति नहीं मिलेगी। ग्रीन कार्ड की तकनीकी जांच पूरी होने के बाद वाहन मालिक इसे ऑनलाइन भी डाउनलोड कर सकते हैं या फिर परिवहन कार्यालय से प्राप्त कर सकते हैं।
ग्रीन कार्ड के बाद, ट्रिप कार्ड बनाने के लिए भी greencard.uk.gov.in पर निशुल्क पंजीकरण किया जाएगा, जिसमें वाहन चालक को केवल अपनी लाइसेंस नंबर और जन्मतिथि डालनी होगी। वहीं, यात्रा से संबंधित अन्य जानकारी पर्यटन विभाग की वेबसाइट पर पंजीकरण के बाद स्वत: दर्ज हो जाएगी।
चारधाम यात्रा के दौरान वाहनों की जांच प्रमुख स्थानों जैसे ब्रह्मपुरी, भद्रकाली, कुठालगेट और हरबर्टपुर कटापत्थर पर की जाएगी। यहां, परिवहन विभाग के कर्मचारी ग्रीन कार्ड और ट्रिप कार्ड के साथ-साथ यात्रियों की भी जांच करेंगे। यात्रा के दौरान किसी भी समस्या की स्थिति में यात्री एआरटीओ कार्यालय या निर्धारित मोबाइल नंबर पर शिकायत कर सकेंगे।
इसके अलावा, ओवररेटिंग को रोकने के लिए वाहनों का किराया भी विभाग द्वारा निर्धारित किया गया है। यात्रा पर जाने के लिए तीर्थयात्रियों को पर्यटन विभाग की आधिकारिक वेबसाइट पर पंजीकरण कराना होगा। अगर कोई टूर और ट्रैवल कंपनी बिना पंजीकरण के यात्रियों को लाती है, तो उसके खिलाफ धारा 193 के तहत कार्रवाई की जाएगी। केवल परिवहन विभाग से लाइसेंस प्राप्त टूर ऑपरेटर ही यात्रियों को यात्रा पर ले जा सकेंगे।