
रुद्रप्रयाग, कुलदीप राणा : हरियाली राज जात की पूूर्णाहुति के साथ संपन्न।
9 दिन केे बाद माॅ की डोेली वापस अपनेे स्थान पर विराजमान ।
माॅ ने किया भक्तों से 2029 में फिर मिलने का वाादा।
9 दिन केे बाद माॅ की डोेली वापस अपनेे स्थान पर विराजमान ।
माॅ ने किया भक्तों से 2029 में फिर मिलने का वाादा।
नौ दिन तक चलेे हरियाली देवी राज जात का पूर्णाहुुति के साथ भब्य रूप संपन्न हो गया। नवासू गांव मेें चल रही मां की राज जात यज्ञ नित दिन चार पहर की पूजा अर्चना के साथ संपन्न हो गयी।भक्तोें सेे 12 वर्ष बाद फिर बुलानेे का वचन लेेकर आराध्य मां भगवती हरियाली देेवी नेे विदा ली।
12 वर्षों के बाद हुई मां की राज जात में माॅॅ के आर्शीवाद से बंद पडेें घरों केे तालेे के साथ देश -प्रदेश में रहने वाले धियाणीया भक्तों ने माॅ से वादा किया कि हमें आपके आर्शीवाद सेे फिर अगली राजजात में दर्शन देगी। माॅ ने भी भक्तों से वादा किया।
इन 9 दिनों में पूरेे क्षेत्र में खुशहाली का पर्व रहा जिन घरों में वर्षों सेे ताले लटके हुए थे वे इस बार खुले मिले और जो कई वर्षों से अपने नाते रिश्तेदारों से नहीं मिले वे इस बार माॅ के राज जात में मिले । इसी लिए माॅ कों धियाणी के रूप में पूजा जाता है। यज्ञ आहुति के बाद माॅ की राज जात भी सम्पन्न हो गयी। धार्मिक अनुुष्ठान ,आयोजन आज भी आपसी मेल मिलाप का सबसेे मुख्य माध्यम है। इसी लिए हमें अपनी धार्मिकता, सामाजिकता, और संस्कृति को संजोए रखना चाहियें।और आने वाली पीडी को एक सुुखद संदेश देती है।