शनि देव का प्रकोप किसी पर पड़ जाए तो उसका जीवन कष्टों से भर जाता है। व्यक्ति के अच्छे–बुरे कर्मों का फल शनि देव ही देते हैं। इसलिए जरूरी है कि आप शनिदेव को प्रसन्न रखें और भक्ति भाव से उनकी पूजा करें। शनि देव का प्रकोप अत्यंत ही भयंकर परिणाम देता है।
शनिवर को क्या न ख़रीदे|
शनिवार को खरीदे गए काले जूते पहनने वाले को कार्य में असफलता दिलाते हैं।
काले तिल खरीदने से कार्यों में बाधा आती है।
इस दिन खरीदी गई कैंची रिश्तों में तनाव लाती है।
शनिवार को नमक खरीदने से यह उस घर पर कर्ज लाता है। साथ ही रोगकारी भी होता है।
शनिवार को सरसों या किसी भी पदार्थ का तेल खरीदने से वह रोगकारी होता है।
शनिवार को लोहे का बना सामान नहीं खरीदना चाहिए। ऐसा माना जाता है कि शनिवार को लोहे का सामान क्रय करने से शनि देव कुपित होते हैं।
शनिवार को झाड़ू घर लाने से दरिद्रता का आगमन होता है।
शनिवार को स्याही न खरीदें। यह मनुष्य को अपयश का भागी बनाती है।
इस दिन लकड़ी या लकड़ी का कोई भी सामान खरीदना अशुभ माना जाता है।
किसी भी तरह के इलेक्टॉनिक सामान की खरीदारी शनिवार के दिन अशुभ मानी जाती है
क्या करने से प्रसन्न होंगे शानिदेव
शनिवार के दिन काले घोड़े की नाल अथवा नाव में लगी कील का छल्ला धारण करें।
शनिवार के दिन अपने दाएं हाथ के नाप जितना उन्नीस हाथ लंबी काली डोरी अथवा धागा बंटकर माला की तरह गले में धारण करें।
सवा किलो काला कोयला, एक लोहे की कील को काले कपड़े में बांधकर जिस पर शनि का प्रकोप है उसके सिर पर से घुमाकर प्रवाहित जल में डाल दें।
चोकरयुक्त आटे की 2 रोटियां बनाएं और एक को तेल अथवा दूसरी घी से चुपड़ दें। तेल से चुपड़ी रोटी पर थोड़ा मीठा रखकर काली गाय को खिलाएं और फिर दूसरी रोटी भी खिला दें।