नौ दिन की देरी से मानसून पहुंचा उत्तराखंड, प्रदेश में ऑरेंज अलर्ट जारी।

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देहरादून – देहरादून, उत्तरकाशी, रुद्रप्रयाग, चमोली, उत्तरकाशी, रुड़की, हरिद्वार में भारी बारिश हो रही है। ऐसे में इन जिलों में आपदा प्रबंधन के लिहाज से सतर्क रहने की जरूरत मौसम विभाग की ओर से बताई गई है। डीएम डॉ. आर राजेश कुमार ने जिलेभर में आपदा संभावित इलाकों को चिह्नित करने के साथ ही वहां एंबुलेंस और जेसीबी की तैनाती की निर्देश दिए हैं।

नौ दिन की देरी से दक्षिण पश्चिम मानसून ने उत्तराखंड में दस्तक दे दी है। इसके साथ ही राजधानी समेत मैदान से पहाड़ तक झमाझम बारिश का दौर शुरू हो गया है। पिछले नौ दिनों से मानसून का इंतजार कर रहे मौसम विज्ञानियों के साथ ही गर्मी से परेशान लोगों ने राहत की सांस ली है।


वहीं, मौसम विभाग ने मानसून के पूरी तरह सक्रिय होने के साथ ही अगले 24 घंटे के भीतर नैनीताल, उत्तरकाशी, चमोली, बागेश्वर, पिथौरागढ़ में भारी से बहुत भारी बारिश की संभावना जताई है। साथ ही ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक एवं वरिष्ठ मौसम विज्ञानी विक्रम सिंह ने बताया कि दक्षिण पश्चिम मानसून ने राज्य में दस्तक दे दी है। बता दें कि बीच में कमजोर पड़ने की वजह से मानसून 20 के बजाय नौ दिन की देरी से उत्तराखंड पहुंचा हैं। मौसम विज्ञानियों ने इस साल ठीक ठाक बारिश की संभावना जताई है।

मानसून की दस्तक के बाद डीएम डॉ. आर राजेश कुमार ने आपदा प्रबंधन से जुड़े विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक कर जरूरी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जिलेभर में आपदा संभावित इलाकों को चिह्नित करने के साथ ही वहां एंबुलेंस और जेसीबी की तैनाती की जाए। बुधवार को एनआईसी सभागार में आयोजित बैठक में डीएम ने कहा कि बिंदाल, रिस्पना और सौंग नदी के किनारे बसे लोगों को चिह्नित कर उन्हें सुरक्षित इलाकों में पहुंचाने की व्यवस्था कर ली जाए। उन्होंने सिंचाई विभाग और नगर निगम के अधिकारियों को बीती रात मन्नूगंज इलाके में नाले के किनारे क्षतिग्रस्त पुश्तों का मुआयना कर कार्ययोजना बनाकर तत्काल कार्य करने के निर्देश दिए। खाद्य आपूर्ति विभाग के अधिकारियों से कहा कि मानसून के मद्देनजर जिले के सहिया, चकराता जैसे दुर्गम क्षेत्रों में तीन माह का खाद्यान्न भेजने की व्यवस्था करें।

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