लंदनः अपने लिए झूठ बोलना धीरे-धीरे आपको एक बड़ा झूठा बना सकता है और अंतत: आपको उस स्थिति में ला देगा, जहां आपका दिमाग बेईमानी में लगने लगेगा. आपको छल करना आसान लगने लगेगा, एक रिसर्च में यह बात सामने आई है.
इस स्टडी के नतीजे बताते हैं कि छोटे झूठ बोलना हमारे दिमाग को नकारात्मक भावनाओं से जोड़ देता है और हमें फ्यूचर में बड़े झूठ बोलने को प्रोत्साहित करता है.
इसके अलावा, दिमाग का एक भाग जो इमोशंस के साथ जुड़ा होता है वो उस समय एक्टिवेट हो जाता है जब लोग अपने फायदे के लिए पहली बार झूठ बोलते हैं.
जबकि दिमाग का ये हिस्सा हर हर बार झूठ बोलने की प्रक्रिया के साथ प्रतिक्रिया देना कम कर देता है जबकि झूठ बोलने के परिणाम बढ़ते जाते हैं.
शोधकर्ताओं का कहना है कि झूठ बोलने से दिमाग का जो हिस्सा एक्टिवेट होता है यदि उसकी सक्रियता में ज्यादा गिरावट आती है तो समझ लें कि फ्यूचर में आप बड़े झूठ बोलने से भी नहीं हिचकिचाने वाले.
यूनिवर्सिटी कॉलेज लंदन (यूसीएल) के ताली शिरोत ने कहा, “जब हम निजी फायदे के लिए झूठ बोलते हैं, हमारा दिमाग का एक हिस्सा नकारात्मक भावना उत्पन्न करता है. यह तय करता है कि हमें किस हद तक झूठ बोलना है.”