एनएच 74 चौड़ीकरण की आड़ में हुए मुआवजा घोटाले ने प्रदेश को शर्मसार किया है। अब तक की जांच में सामने आए 250 करोड़ के इस घोटाले की जद में कई अधिकारी व कर्मचारी हैं। अभी तक सात पीसीएस अफसर निलंबित किए जा चुके हैं और कई जांच के दायरे में हैं। शासन ने इसकी जांच सीबीआइ से कराने की बात कही है। जिन कर्मचारियों पर आज गाज गिरी है उनमें सितारगंज का राजस्व अहलमद संतराम, सितारगंज के ही रजिस्ट्रार कानूनगो हेमराज सिंह चौहान, बाजपुर के रजिस्ट्रार कानूनगो पंकज कुमार, बाजपुर के ही राजस्व निरीक्षक कुंवर सिंह, एसडीएम सदर के पेशकार विकास, जसपुर के पेशकार सतपाल सिंह, जसपुर के ही रजिस्ट्रार कानूनगो चंदपाल, जसपुर के संग्रह अमीन अनिल कुमार, काशीपुर के राजस्व अहलमद संजय कुमार चौहान निलंबित किया गया है।
जबकि संविदा पर तैनात गदरपुर की डाटा इंट्री ऑपरेटर अनुपमा रावत, काशीपुर के मनोज कुमार, अनुज कुमार तथा सितारगंज के अरुण कुमार दुबे की सेवाएं समाप्त करने के निर्देश संबंधित एसडीएम को दिए गए हैं। इसके साथ ही सेवानिवृत्त राजस्व निरीक्षक कमालद्दीन, ओमप्रकाश, सेवानिवृत्त रीडर राम जगदीश राणा को कारण बताओ नोटिस जारी किए गए हैं। एनएच मुआवजा घपले में दो नायब तहसीलदारों के खिलाफ भी कार्रवाई की संस्तुति जिलाधिकारी डॉ. नीरज खैरवाल ने राजस्व परिषद से की है। इसमें मोहन सिंह वर्तमान में नैनीताल और रघुवीर सिंह पिथौरागढ़ जिले में तैनात हैं।