
उत्तराखंड में Assistant Teacher (LT) उम्मीदवारों के लिए राहत की खबर है। हाईकोर्ट ने मंगलवार को एक अहम फैसला देते हुए 1544 पदों पर हो रही भर्ती प्रक्रिया पर लगी रोक को हटा दिया है।
प्रदेश के LT उम्मीदवारों के लिए अच्छी खबर
प्रदेश के एलटी उम्मीदवारों के लिए खुशखबरी है। नैनीताल हाईकोर्ट ने 1544 पदों पर हो रही भर्ती प्रक्रिया पर लगी रोक को हटा दिया है। अब UKSSSC इन पदों का अंतिम परिणाम जारी कर सकता है। यह भर्ती 14 मार्च 2024 को निकाली गई थी। जिसमें 786 पद गढ़वाल मंडल और 758 पद कुमाऊं मंडल के लिए निर्धारित थे। बता दें कि इसकी लिखित परीक्षा 18 अगस्त 2024 को हुई थी।
आरक्षण नीति में गड़बड़ी का लगा था आरोप
हालांकि आरक्षण नीति में गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए कुछ उम्मीदवारों ने कोर्ट में याचिकाएं दायर कर की गई थीं। इसके चलते हाई कोर्ट ने परिणाम पर रोक लगा दी थी। अब कोर्ट ने उन याचिकाओं का निपटारा कर दिया है और भर्ती प्रक्रिया को आगे बढ़ाने की अनुमति दे दी है। हालांकि कुछ पद फिलहाल रिक्त रखने के निर्देश भी दिए गए हैं।
राजस्व विभाग से जुड़े मामले में भी आया बड़ा फैसला
मंगलवार को हाईकोर्ट ने राजस्व विभाग से जुड़े एक और महत्वपूर्ण मामले में फैसला दिया। कोर्ट ने स्पष्ट कर दिया कि पटवारी की सीनीयरिटी उनके ट्रेनिंग मार्क्स से नहीं बल्कि वास्तविक नियुक्ति तिथि से तय होगी। याचिकाकर्ताओं जैसे कि अल्मोड़ा के मनीष कुमार ने दावा किया कि उन्होंने पटवारी प्रशिक्षण पाठ्यक्रम में ज्यादा अंक पाए हैं, इसलिए उनकी सीनीयरिटी लिस्ट में ऊपर जगह होनी चाहिए।
लेकिन कोर्ट ने कहा कि सिर्फ ट्रेनिंग में पास हो जाना ही पर्याप्त नहीं होता। नियुक्ति तभी मानी जाती है जब वो वैकेंसी पर औपचारिक रूप से दी जाए। केवल उसी स्थिति में ट्रेनिंग मार्क्स मायने रखते हैं जब दो या अधिक उम्मीदवारों के एक ही दिन नियुक्त हुए हों।
कोर्ट ने दिए फाइनल लिस्ट जारी करने के निर्देश
कोर्ट ने ये भी साफ किया कि राजस्व निरीक्षक / पर्यवेक्षक कानूनगो की प्रमोशन मंडल स्तर पर होती है और इसके लिए सीनीयरिटी ही प्राथमिक मापदंड है। 1983 रूल्स के अनुसार पूरे मंडल के पटवारियों की सीनीयरिटी उनकी प्रारंभिक नियुक्ति तिथि के आधार पर तय की जाती है न कि उनके ट्रेनिंग मार्क्स के आधार पर।
इसलिए जिन अधिकारियों की नियुक्ति याचिकाकर्ताओं से पहले हुई और अगर उनके अंक कम थे तो उन्हें अभी भी वरिष्ठ माना जाएगा। कोर्ट ने जिलाधिकारी अल्मोड़ा को निर्देश दिया है कि वो तीन महीने के अंदर अनंतिम वरिष्ठता सूचीपर आई आपत्तियों का निस्तारण कर फाइनल लिस्ट जारी करें।




