नई दिल्ली/चेन्नई: सुप्रीम कोर्ट ने एआईएडीएमके महासचिव वीके शशिकला को सरेंडर से राहत देने से इनकार कर दिया है. उन्होंने आय से अधिक संपत्ति मामले में दोषी ठहराए जाने के बाद बेंगलुरु की अदालत में सरेंडर के लिए सुप्रीम कोर्ट से मोहलत मांगी थी.
शशिकला ने सरेंडर करने के लिए समय मांगा था, जिस पर सुप्रीम कोर्ट ने इनकार कर दिया है. कोर्ट का कहना है कि उन्हें आज ही सरेंडर करना होगा. आय से अधिक संपत्ति के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें चार साल की सज़ा के साथ ही उनपर दस करोड़ का जुर्माना भी लगाया है. फैसले के बाद शशिकला अब दस साल तक चुनाव नहीं लड़ सकेंगी.
मैं कहीं भी रहूं, हमेशा पार्टी के बारे में ही सोचूंगी- शशिकला
कल शशिकला ने विधायकों से कहा, ”मेरे खिलाफ केस डीएमके ने फाइल किया था, मैं इसे संभाल लूंगी. आप लोगों एकजुट रहना होगा और तय करना होगा कि लोग डीएमके के अस्तित्व पर सवाल करें.” शशिकला अपनी बात कहते हुए भावुक भी हो गईं थीं. उन्होंने कहा, “कोई भी ताकत मुझे एआएईडीएमके से अलग नहीं कर सकती, मैं कहीं भी रहूं मैं हमेशा पार्टी के बारे में ही सोचूंगी.”
10 वर्षों तक नहीं लड़ पाएंगी चुनाव
न्यायालय के फैसले के बाद शशिकला अब 10 वर्षों तक चुनाव नहीं लड़ पाएंगी. इसमें से चार साल उनकी कैद की अवधि के होंगे और रिहा होने के बाद जनप्रतिनिधित्व कानून के तहत वह छह साल तक चुनाव नहीं लड़ सकेंगी. अदालत ने तीनों को तत्काल निचली अदालत के समक्ष समर्पण करने के लिए कहा. अदालत ने शशिकला को चार साल कारावास की सजा सुनाई और 10 करोड़ रुपए जुर्माना भी लगाया.