देहरादून। भूखे को अन्न, प्यासे को पानी। यह सूक्ति भारतीय वांगमय की है। लेकिन इस सूक्ति को युवाओं का एक संगठन पूरा कर रहा है। अन्नपूर्णा रोटी बैंक के नाम से एक दर्जन युवा लोगों को रोटी खिलाने का संगठन चला रहे हैं। रोटी बैंक का नारा है ‘रोटी बैंक का यही सपना, भूखा न सोये कोई अपना।’ इस नारे के साथ डीएवी कॉलेज के छात्र हर्ष चौहान तमाम लोगों को अपने साथ जोड़ रहे हैं। अन्नपूर्णा रोटी बैंक चैरिटीबल ट्रस्ट द्वारा प्रतिदिन टीम बनाकर कुछ घरों से रोटी, सब्जी से खाद्य पदार्थ एकत्र किए जाते हैं। इन्हें वह अभावग्रस्त क्षेत्रों में वितरित करते हैं, जिनमें गरीब, अशक्त, विकलांग आदि शामिल है। जानकारी देते हुए ट्रस्ट के संचालक हर्ष चौहान का कहना है कि अन्नपूर्णा रोटी बैंक के गठन के बाद से ही लगातार उनके साथ लोग जुड़ रहे हैं और आग्रह करके उन्हें खाद्य सामग्री दे रहे हैं, जिन्हें वह असहाय लोगों को वितरित करते हैं। एक युवा टीम हर्ष चौहान के साथ जुटी हुई है, जिसमें वैभव चौहान, अभिषेक चौहान, युवराज चौहान, दिनेश, रवि चौहान विनायक चौहान जैसे लोग शामिल है।
अन्नपूर्णा रोटी बैंक संचालकों का मानना है कि हमारे यहां एक रोटी गाय, कौवे तक के लिए निकालने की परिकल्पना है। ऐसे में कोई मनुष्य भूखा रहे यह अच्छी स्थिति नहीं होगी, इसीलिए उन्होंने अपने मित्रों के साथ रोटी बैंक की स्थापना कर असहायों को रोटी खिलाने का प्रबंध किया है ताकि कोई खाने के बिना न मरें। अभावग्रस्त क्षेत्र में महिला और पुरुषों को रोटी वितरित करना संगठन का काम है। सोमवार को संगठन से जुड़े लोगों ने कई क्षेत्रों में रोटी वितरण कार्यक्रम आयोजित किया।
रोटी बैंक के सदस्यों द्वारा दो प्रमुख स्थानों पर रोटी वितरण किया गया जिनमें हरिद्वार रोड स्थित रिस्पना पुल के समीप के बस्ती प्रमुख है जहां काफी गरीब लोग रहते हैं। इसी प्रकार की मलिन बस्तियों में भी इनके द्वारा रोटी वितरण किया गया।