काले धन को लेकर 500 और 1000 के नोटों पर अंकुश लगाने के बाद मोदी सरकार भले ही अपनी पीठ थपथपा रही है। पर असल मायने में ये प्रतिबंध आम लोगों के लिए गले की हड्डी बन गया है। 9 नबंवर से लागू हुए इस प्रतिबंध ने कई लोगों को परेशान किया है तो कई लोग गैर कानूनी तरीके से नोटो की अदला बदली करके लोगों से पैसे ऐठने में लगे है।
देश में 500 और 1000 के नोट बंद क्या हुए आम जनता की परेशानियां शुरू हो गई है। आलम ये है कि लोग रोजमर्रा की चीजों के लिए भी तरस रहे है। सरकार ने पेट्रोल पंप,अस्पतालों में 500 और 1000 रूपए के नोट अगले 72 घंटे तक लेने की अनुमति दी थी पर पेट्रोल पंप,अस्पतालों में लोगों के मनमानी के चलते लोग इधर उधर भटकने को मजबूर हो गए है।
ऐसी ही कुछ परेशानियों को हम आपसे रूबरू कराते है जिसके सामने आपको मोदी सरकार के अच्छे दिन फीकें लगेंगे।
- इस महिने में कई लोगों के शादियां है। पर सरकार के इस नए नियम के चलते शादी कराना मुश्किल हो गया है। नए नियम के मुताबिक बैक से ज्यादा रूपए का लेन देन संभव नही है। ऐसे में सवाल उठता है कि ऐसी कठिनाई में कैसे पूरी व्यवस्था के साथ शादी लग्नानुसार शादी की जाए।
- वैसे तो सरकार ने आज से बैक से रूपए बदलने की व्यवस्था शुरू कर दी है। पर उन शहरों का क्या जहां बैंक में 500 और 1000 के नए करैंसी पहुंची भी नही। ऐसे में बिना प्लानिंग के कैसे लोगों के अच्छे दिन की सरकार बात कर रही है।
- आज सुबह से ही बैंकों के बाहर पुराने नोट मरीजों बदलने की प्रक्रिया शुरू की गई है। पर खबरें है कि बैंकों के पास उतना नया धन पहुचा ही नही कि प्रत्येक व्यक्ति को दिया जा सके।
- इसके अलावा बड़े नोटों के नहीं चलने से देशभर के अस्पतालों में मरीजों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. अकेले लखनऊ की बात करें, तो यहां करीब 250 मरीजों के ऑपरेशन नहीं हो पाएं. कैंसर मरीजों की कीमोथेरेपी और रेडियोथेरेपी भी पेमेंट ना होने के कारण नहीं हो पाई. राम मनोहर लोहिया अस्पताल में किडनी के मरीजों की डायलिसिस बंद थी. दिल्ली-एनसीआर में भी फोर्टिस, कैलाश, जेपी, मैक्स समेत सभी अस्पतालों और नर्सिंग होम ने 500-1000 रुपये के पुराने नोट लेने से इनकार कर दिया. ऐसे में यहां से भी मरीज बिना इलाज कराए वापस लौटे. नोटों को लेकर कुछ प्राइवेट अस्पतालों में हाथापाई तक हुई.
मोदी जी खुद पीठ थपथपाने से कुछ नही होगा। लोगों की समस्याओं का पहले समाधान करिए फिर नियम बनाइए।