देहरादून- मौसम विभाग की चेतावनी सही साबित हुई। उत्तराखंड में मानसून की भारी बारिश ने लोगों को उमस से राहत तो दी, लेकिन कई स्थानों पर जलभराव से सड़कें पानी-पानी हो गई। वहीं, रुद्रप्रयाग जनपद में पहाड़ी से भूस्खलन होने के कारण सारी चलसील गांव मलबे से अट गया। इस दौरान खेत और सड़क बह गई। हालांकि, चारधाम यात्रा मार्ग सुचारु हैं। चमोली जिले के गोचर से सटे रुद्रप्रयाग जिले के सारी गांव में मूसलाधार बारिश के चलते पहाड़ी से भूस्खलन हुआ। इस दौरान मलबे से गांव के खेत अट गए। साथ ही गांव की पेयजल लाइन भी ध्वस्त हो गई। यहीं नहीं गांव की करीब तीस मीटर सड़क भी बह गई।
ग्रामीणों के अनुसार गांव के ऊपर जंगल में काफी नुकसान हुआ है। घटना में कोई जनहानी या पशुहानि नही हुई है। मलबा आते ही ग्रामीण घरों से निकलकर सुरक्षित स्थानों की तरफ भाग गए। हालांकि किसी जानमाल के नुकसान की सूचना नहीं है। सूचना पर जिला प्रशासन की टीम मौके के लिए रवाना हो गई है। जिला आपदा कंट्रोल अधिकारी हरीश चंद्र के अनुसार यह अतिवृष्टि की घटना है। बादल फटने से मना कर रहे हैं।
बुधवार की शाम को दून सहित कई स्थानों पर हल्की बारिश हुई थी। इसके बाद गुरुवार की तड़के करीब साढ़े तीन बजे से बारिश का फिर से दौर शुरू हुआ। गढ़वाल मंडल के जनपदों के साथ ही देहरादून, हरिद्वार, ऋषिकेश में झमाझम बारिश हुई। इसके चलते दून और ऋषिकेश की सड़कों पर कई स्थानों में जलभराव भी हुआ। वहीं, सड़कों पर अंधेरा छाने से वाहन चालकों को हेड लाइट जलानी पड़ी। बारिश का यह दौर करीब पांच घंटे तक चला। कुमाऊं में भी नैनीताल में हल्की बूंदाबांदी हुई, वहीं बागेश्वर में झमाझम बारिश से सरयू नदी का जलस्तर भी बढ़ने की सूचना है। मौसम विभाग के अनुसार आगामी 48 घंटे तक देहरादून, पौड़ी, नैनीताल, चंपावत, हरिद्वार, टिहरी व ऊधमसिंह नगर जिलों में भी भारी बारिश होने की संभावना है।
मौसम विभाग ने ऑरेंज अलर्ट जारी करते हुए जिला प्रशासन को एहतियात बरतने की सलाह दी है। मौसम विभाग के निदेशक बिक्रम सिंह ने बताया कि अगले 48 घंटे प्रदेशभर में मानसून की बारिश का दौर चलेगा। विशेषकर सात जिलों में भारी बारिश की आशंका है। जान-माल की सुरक्षा के मद्देनजर मौसम विभाग ने चेतावनी जारी की है।